क्या वर्षों की परम्परा भी निभाना अब सुरक्षित नही ।
रायपुरिया@राजेश राठौड़
रायपुरिया:- निप श्रीकृष्ण जन्माष्टमी पर बस स्टैंड पर बंधी मटकी जो वषों की परम्परा है बच्चों की ज़िद की वजह से यह कार्य पूरा हो पाया कहते छोटे छोटे बच्चे भगवान का रुप होते यही आज देखने को मिला क्योंकि आज यहां पर मटकी नहीं बांधने का विचार हो रहा था उसका कारण यह था कि पिछले छट तिथि के दिन छोटी छोटी लड़की का उपवास था उस दिन लड़कीया पैदल सड़कों पर जा रही थी कुछ युवा मोटरसाइकिल पर सवार उन लड़कियों के बीच ले जाना और छेड़ छाड़ कर रहे थे एव गांव का माहौल खराब कर रहे थे जिसकी सुचना पुलिस को फोन से दी जा रही थी लेकिन पुलिस लगभग आधे सेएक घंटे में आई उस माहौल को देखते हुए इस बार कृष्णा जन्माष्टमी पर मटकी नहीं बांध ने का विचार था लेकिन बच्चे सुबह से मायुस हो रहे थे उनकी मायुसी देखकर फिर बस स्टैंड के युवाओं ने मन बनाया की मटकी बांधी जाए।यह भी एक गम्भीर बात है कि कुछ मनचलों की वजह से क्या अब गावों में लोगों को त्यौहार भी मनाने के लिए अपने बच्चों की सुरक्षा का भी सोचना पड़ रहा है गाँव के निवासी ने बताया कि अब इस छोटे से कस्बे में भी हमारे बच्चे सुरक्षित नही ,कही से भी मनचले आ जाते है और बच्चीयों से छेड़छाड़ कर चले जाते है गाँव मे मनाए जाने वाले सभी त्योहारों पर स्थानीय पुलिस को सुरक्षा व्यवस्था देखनी चाहिए।